केशव प्रसाद मौर्य भारत के उत्तर प्रदेश के उप-मुख्यमंत्री हैं। वे सोलहवीं लोकसभा के सांसद थे। 2014 के चुनावों में वे उत्तर प्रदेश की फूलपुर सीट से भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर चुनाव लड़कर निर्वाचित हुए। 19 मार्च 2017 को इन्होंने उत्तर प्रदेश के उप-मुख्यमंत्री पद की शपथ ली।
लखनऊ: उत्तर प्रदेश के उप-मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्या ने इस्तीफ़ा दे दिया है। मौर्या ने निर्माण निगम अध्यक्ष पद से अचानक इस्तीफ़ा दे दिया है। बता दें, मौर्या अब सचिव निर्माण निगम के अध्यक्ष होंगे।
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मौर्या ने अचानक अपना पद क्यों छोड़ा, इसकी जानकारी अभी नहीं है लेकिन यह बात हर कोई पूछ रहा है कि उन्होंने अपना पद क्यों छोड़ा। मौर्या के इस्तीफ़ा देने के बाद नितिन रमेश गोकरण नए अध्यक्ष होंगे।
कौन हैं केशव प्रसाद मौर्या?
केशव प्रसाद मौर्य यूपी में बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष का पद संभाल चुके हैं|
मौर्य सोलहवीं लोकसभा के सांसद थे।
2014 के चुनावों में वे उत्तर प्रदेश की फूलपुर सीट से भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर चुनाव लड़कर निर्वाचित हुए।
19 मार्च 2017 को इन्होंने उत्तर प्रदेश के उप-मुख्यमंत्री पद की शपथ ली
केशव प्रसाद मौर्य उत्तर प्रदेश के ओबीसी समुदाय पर मजबूत पकड़ रखते हैं।
मौर्य राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सम्पर्क में आने के बाद विश्व हिन्दू परिषद, बजरंग दल और भाजपा में करीब 18 साल तक प्रचारक रहे हैं।
केशव प्रसाद मौर्य ने श्रीराम जन्म भूमि और गोरक्षा व हिन्दू हित के लिए अनेकों आन्दोलन किये और इसके लिए जेल भी गये।
फूलपुर से भाजपा प्रत्याषी के रूप में तीन लाख आठ हजार तीन सौ आठ (308308) वोटो से ऐतिहासिक जीत हासिल की। इलाहाबाद को स्मार्ट सिटी के रूप में जो उपहार मिला, उसमें भी इन्होने महत्वपूर्ण भूमिका अदा की।
मौर्य पर कई आपराधिक मामले दर्ज हैं।
लोकसभा चुनाव के समय चुनाव आयोग को दिए हलफनामे के अनुसार इन पर दस गंभीर आरोपों में मामले दर्ज हैं।
केशव प्रसाद मौर्या ने कृषि कार्यों के साथ-साथ चाय की दुकान भी चलायी और अख़बार का विक्रय तक किया।