तेतैया को हम हमेशा देख कर हमेशा डर जाते हैं यह दो रंग का होता है भूरा और पीले रंग का और बच्चे तो बच्चे इसको देख कर बड़े भी डर जाते हैं कि यह कहाँ से आ गया कहीं यह काट ना लें , मधुमक्खी और तेतैया के काटने से हर कोई बचना ही पसंद करता है जब भी इन दोनों को देखते हैं तो हम इससे बचना ई पसंद करते हैं पर आज इस जानवर के बारे में आई यह खबर पढ़ने के बाद आप इससे बचने की नही बल्कि कटवाने की जल्दी करेंगे ।
आज हम बात कर रहे हैं तेतैया के काटने से होने वाले कुछ ऐसे चमत्कार के बारे में जिसके बारे में हाल ही मे शोध हुआ और इस शोध में बहुत ही चौंका देने वाला तथ्य सामने आया और इतना ही नही उस शोध ने लोगों के मन में और मेडिकल जगत में काफी हलचल मचा दी है आइये जानते हैं की क्या है इसका राज ।
एमआईटी के इंजीनियरों ने नया एंटीमाइक्रोबियल पेप्टाइड्स विकसित की है। इससे श्वसन और अन्य संक्रमण को फैलाने वाले जीवाणुओं पर काबू पाया जा सकता है। इस केमिकल को बनाने के लिए जिस तत्व की आवश्यकता है वह तेतैया में पाया जाता है जो की कई तरह के संक्रामण से बचाव करने में हमारी सहायता करता है ।
इसको ले कर दवा नही बनाई जा सकती यह बहुत ही दुर्भाग्य की बात है क्योंकि इस जानवर के अंदर कुछ जहरीला अंश भी होता है जो की दवा के रूप में नुकसान कर सकता है इसलिए इसके अंदर से इस तत्व को निकाल कर इस केमिकल को विकसित किया जा रहा है ।