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छत्तीसगढ़ : मूल्यांकनकर्ताओं की लापरवाही से हर साल बदल जाती है मेरिट सूची

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छत्तीसगढ़ माध्यमिक शिक्षा मंडल(माशिमं) के लापरवाह मूल्यांकनकर्ताओं के कारण हर साल मेधावियों को अपने हक की लड़ाई लड़नी पड़ रही है। अंतिम टॉपटेन सूची में इस बार भी 10वीं- 12वीं में 11 नए टॉपर निकले हैं। दोबारा कॉपी जंचवाने के बाद 12वीं में सात नए मेधावियों ने मेरिट सूची में जगह हासिल की है। वहीं 10वीं में चार नए मेधावी शामिल हुए हैं। माशिमं को टॉपटेन की जगह टॉप 11 की मेरिट सूची जारी करनी पड़ी। बता दें कि 12वीं में अस्थायी सूची में 22 मेधावी टॉपटेन में थे। अब 12वीं के मेधावियों की संख्या 29 हो गई है। वहीं 10वीं में भी मेधावी 22 से बढ़कर 26 हो गए हैं। टॉपटेन सूची में लगातार फेरबदल से मूल्यांकन को लेकर सवाल खड़े हो गए हैं। बता दें कि माशिमं ने दो साल पहले स्टेपवाइज मार्किंग सिस्टम लागू किया था। इसके अनुसार हर लाइन लिखने पर कितना अंक देना तय है। माशिमं मूल्यांकनकर्ताओं को मॉडल पेपर भी देता है। इसके बावजूद इस तरह की गड़बड़ियां सामने आना समझ से परे हैं। पिछले सालों में पुनर्मूल्यांकन के बाद 40 फीसद तक बच्चों के अंक बढ़े हैं।

केस 01

साल 2016-17 में इस तरह हुआ था फेरबदल

माशिमं की 10वीं-12वीं बोर्ड परीक्षा-2016-17 के मूल्यांकन में जबरदस्त गड़बड़ी उजागर हुई थी। पुनगर्णना और पुनर्मूल्यांकन में कई विद्यार्थियों के अंक 40 फीसदी तक बढ़े थे। 10वीं की प्रथम अस्थायी टापटेन सूची के 12 विद्यार्थी दूसरी अस्थायी सूची में बाहर हो गए थे। वहीं 12वीं के 9 विद्यार्थी दूसरी सूची में बाहर हो गए थे।दोनों क्लास की मेरिट सूची में सात-सात नए मेधावी जुड़े थे।

केस 02

2017-18 में 14 नए मेधावी हुए थे शामिल

माशिमं ने 10वीं- 12वीं परीक्षा 2017-18 की अंतिम टॉपटेन सूची जारी थी। दसवीं की अस्थायी मेरिट सूची में 30 मेधावी थे, इनमें 10 नये मेधावी शामिल हो गए थे। बारहवीं की पहली सूची में सिर्फ 29 मेधावी थे, जिसमें चार नए मेधावी शामिल हुए थे। माशिमं ने नोटिस भेजा था तो कॉपी जांचने में गड़बड़ी करने वाले लापरवाह शिक्षकों ने माशिमं से लिखित में माफी मांगी थी।

ऐसे माशिमं करता है कार्रवाई

1. 20 से 40 अंक बढ़ने पर- सभी तरह के पारिश्रमिक काम से तीन साल के लिए वंचित रखने की सिफारिश।

2 . 41 से 49 अंक बढ़ने पर- सभी पारिश्रमिक काम से तीन साल के लिए वंचित कर एक वेतनवृद्घि रोकने की सिफारिश।

3. 50 से अधिक अंक बढ़ने पर- निलंबन के लिए राज्य शासन को पत्र, भविष्य के लिए पारिश्रमिक काम से वंचित।

साल लापरवाह मूल्यांकनकर्ता

2017-18 206

2016-17 321

2015-16 278

2014-15 205

वर्जन

20 फीसद से अधिक अंक बढ़ने पर मूल्यांकनकर्ता को देंगे नोटिस

मूल्यांकन में गड़बड़ी करने पर माशिमं कार्रवाई की अनुशंसा करता है। जिनकी जांची कॉपी में पुनर्मूल्यांकन के बाद 20 फीसद अंक बढ़े हैं उनको नोटिस दिया जाएगा। – प्रो. वीके गोयल, सचिव, माशिमं