छत्तीसगढ़ में सरकारी सिस्टम ने ही एक बार फिर सरकार की गोपनीयता भंग कर दी है। राज्य पुलिस के खुफिया विभाग के चीफ एडीजी इंटेलीजेंस का एक पत्र सोशल मीडिया में वायरल हो गया है। पुलिस कप्तानों को भेजे इस पत्र में एडीजी ने खनन क्षेत्रों में तैनात सुरक्षा बलों के संबंध में रिपोर्ट मांगी है। पत्र के ऊपर में ‘गोपनीय” भी लिखा हुआ है। इसके सार्वजनिक हो जाने से हड़कंप मचा हुआ है। मामले की जांच शुरू हो गई है। इससे पहले निलंबित आइपीएस मुकेश गुप्ता से संबंधित एक गोपनीय पत्र लीक हो चुका है।
सप्ताहभर पहले ही बदले गए हैं खुफिया चीफ
आइपीएस मुकेश गुप्ता से संबंधित गोपनीय पत्र लीक होने के कारण सरकार को सुप्रीम कोर्ट की फटकार सुननी पड़ी, क्योंकि गुप्ता उस पत्र को लेकर सुप्रीम कोर्ट पहुंच गए थे। इसके बाद करीब सप्ताहभर पहले संजय पिल्ले को हटाकर हिमांशु गुप्ता को खुफिया विभाग का चीफ बनाया है।
पत्र को लेकर अटकलें
पत्र को केंद्र और राज्य सरकार के बीच टकराव से जोड़कर देखा जा रहा है। यहां यह बताना लाजिमी होगा कि धान खरीद के मुद्दे पर केंद्र सरकार के खिलाफ मोर्चा खोलने की तैयारी कर रही राज्य सरकार के दो मंत्री खनिज की सप्लाई रोकने की धमकी दे चुके हैं। वहीं, पीसीसी चीफ केंद्र की आर्थिक नाकेबंदी की बात कह चुके हैं।
गृह विभाग के पत्र के आधार पर मांगी जानकारी
गृह विभाग के पांच नवंबर के पत्र का हवाला देते हुए एडीजी ने पुलिस अधीक्षकों से उनके क्षेत्र में स्थित खनन (खनिज) परियोजनाओं में सुरक्षा के लिए पैरा मिलिट्री, सशस्त्र बल समेत अन्य बल की तैनाती की जानकारी मांगी है। तैनात फोर्स का भुगतान के संबंधित में भी जानकारी मांगी गई है।