छत्तीसगढ़ के सीनियर IPS अफसर जीपी सिंह के रायपुर स्थित सरकारी बंगले में 54 घंटे से ACB की छापेमार कार्रवाई जारी है। गुरुवार सुबह 6 बजे जांच टीम जीपी सिंह के सरकारी बंगले में दाखिल हुई थी। शनिवार की दोपहर तक टीम वहीं जमी हुई है। सूत्रों के मुताबिक विदेशों में खाते और निवेश संबंधी कई ऐसे अहम दस्तावेज मिले हैं जिनकी पड़ताल जीपी सिंह के घर पर ही की जा रही है। पिछले 54 घंटों से ADG जीपी सिंह अपने घर में बंद हैं। उनके साथ उनका बेटा और परिवार के अन्य सदस्य भी हैं। सिंह ने फोन पर कुछ लोगों से बात भी की है, मगर ACB की नजर उन पर बनी हुई है। कुछ कागजों में अफसर और नेताओं के नाम भी मिले हैं। जानकारी के मुताबिक सिंह की फिलहाल गिरफ्तारी नहीं होगी। आज छापे की कार्रवाई पूरी हो सकती है और एसीबी टीम बंगले से निकल सकती है।
शनिवार को इस मामले में जांच का तीसरा दिन है।
तंत्र-मंत्र कराते थे सिंह!
जांच टीम के अफसरों को यहां से कुछ डायरियां और डायरियों के फटे पन्ने मिले हैं। इस डायरी में जादू-टोने से जुड़ी बातें लिखी हुई हैं। कुछ ऐसा अजीबो-गरीब सामान भी सिंह के यहां से मिला है जो अमूमन तंत्र-मंत्र के काम आता है। एक डायरी में कोड वर्ड में कुछ अफसरों के बारे में अजीब बातें लिखी हैं। जादू-टोने की बातें ये पुलिस महकमे के ही बड़े अधिकारियों के बारे में हैं। डायरी में लिखा है- वह थाईलैंड से 20 पैर वाला कछुआ मंगवा चुका है। उसकी बलि देने के बाद कुछ भी कर सकेगा। इनमें से एक अफसर का नाम “छोटा टकला” लिखा गया है। लिखा है कि छोटा टकला ने एक अफसर का बाल काट लिया है, इसलिए सब कुछ बिगाड़ सकता है। ऐसा अनुमान है कि छोटा टकला प्रदेश के ही एक सीनियर अफसर का कोड वर्ड है। ये फिलहाल कई मामलों में फंसे हुए हैं और इनके खिलाफ जांच जारी है। दो और अफसरों के लिए अनोपचंद- तिलोकचंद लिखा हुआ है। कुछ आईएएस अधिकारियों, सचिव स्तर के अफसरों, कांग्रेस-भाजपा के नेताओं का नाम भी कोड वर्ड में लिखा है। इन सभी दस्तावेज को बारीकी से देखा जा रहा है।
रात के वक्त भी ACB की टीम जमी रही।
विदेशी बैंकों में अफसर के खाते
ACB की जांच टीम को जीपी सिंह के विदेशी बैंकों में कई खातों की जानकारी मिली है। उन खातों की लिस्टिंग, पैसा कहां से आया किसने दिया, इन पहलुओं की जांच एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम कर रही है। कनाडा, ब्रिटेन और कुछ देशों में बसे रिश्तेदारों के जरिेए निवेश की जानकारी की भी जांच हो रही है। शुक्रवार शाम तक की स्थिति में ओडिशा में संपत्ति, कंस्ट्रक्शन के काम में इस्तेमाल होने वाले आधा दर्जन वाहन, कई बैंक अकाउंट्स, 75 से अधिक बीमा पॉलिसी के सबूत मिले थे। ये सब जीपी सिंह उनकी धर्म पत्नी और उनके पुत्र के नाम पर हैं।
ACB के अफसरों का काफिला जीपी सिंह के घर के बाहर।
गिरफ्तारी की संभावना कम
ACB की टीम ने जीपी सिंह पर धारा 13 (1)बी, 13 (2) भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम यथा संशोधित 2018 के तहत केस पंजीबद्ध किया गया। ACB सूत्रों ने दैनिक भास्कर को बताया कि इस वक्त जीपी सिंह को गिरफ्तार किए जाने की संभावना कम है। सिंह और उनके करीबी काली कमाई का पैसा विदेशी बैंकों में ट्रांसफर कर रहे थे, इसकी जांच कुछ लंबी चल सकती है। जमीन और दूसरे निवेश के दस्तावेजों की जांच के बाद जीपी सिंह की गिरफ्तारी हो सकती है।
जब ACB की टीम जीपी सिंह के घर पहुंची तो करीब 45 मिनट तक गेट नहीं खोला गया।
तो क्या छापे की जानकारी हो चुकी थी लीक !
शुक्रवार की शाम ACB की तरफ से आधिकारिक तौर पर कहा गया कि जीपी सिंह के सरकारी बंगले ये सीसीटीवी का डीवीआर गायब है। इस वजह से टीम को ये पता नहीं चल पा रहा है कि आखिर कौन लोग यहां आ रहे थे और बंगले से क्या कुछ सामान बाहर भेजा गया है। अचानक डीवीआर का गायब हो जाना कोई संयोग नहीं है। चर्चा है कि इस छापे की खबर पहले ही जीपी सिंह को लग गई जिसके चलते DVR गायब करवा दिया गया होगा।
इस तरह के कई सूटकेस जीपी सिंह के घर ले जाए गए जिनमें छापे से संबंधी दस्तावेज थे।
अब तक क्या हुआ
गुरुवार की सुबह 6 बजे ACB-EOW की टीमों ने रायपुर, राजनांदगांव और ओडिशा में एक साथ छापा मारा। जांच अफसरों ने बताया कि सिंह की रायपुर, भिलाई, राजनांदगांव और ओडिशा में करोड़ों की प्रॉपर्टी की पुष्टि हुई है। जब जीपी सिंह खुद ACB चीफ थे तो लोगों को ब्लैकमेल करने, अवैध वसूली करने, बेशुमार प्रॉपर्टी के मालिक बनने की शिकायतें मिली थीं। गुरुवार शाम तक की जांच के बाद जीपी सिंह पर FIR दर्ज की गई। दूसरे दिन शुक्रवार को दिन भर की जांच के बाद 5 करोड़ की चल-अचल संपत्ति का खुलासा हुआ। शनिवार को भी जांच जारी है।