बांग्लादेश के पर्यटकों को भारत की तरफ खींचने के लिहाज से बुधवार को एक बड़ी शुरुआत की गई है. इसके लिए न्यू जलपाईगुड़ी से ढाका के लिए नई ट्रेन सेवा शुरू हुई है. भारत और बांग्लादेश के बीच यह तीसरी ट्रेन है. इस ट्रेन का नाम ‘मिताली एक्सप्रेस’ रखा गया है.
मिताली एक्सप्रेस ट्रेन हाल में शुरू किए गए हल्दीबाड़ी-चिलाहटी रेल लिंक से होकर गुजरेगी. ट्रेन को भारत के रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव और बांग्लादेश के रेल मंत्री मोहम्मद नुरुल सुजान ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया है. दोनों ही मंत्रियों ने दिल्ली के रेल भवन से वीडियो कांफ्रेंसिंग के ज़रिए ट्रेन को हरी झंडी दिखाई.
मिताली एक्सप्रेस का रूट और टाइमिंग
यह ट्रेन दार्जिलिंग और आसपास के खूबसूरत वादियों से होकर गुजरेगी और समझा जा रहा है कि पर्यटन के लिहाज से काफी महत्वपूर्ण होने वाली है. बांग्लादेश से बड़ी संख्या में लोग इस इलाके में सैर सपाटे के लिए आते रहे हैं. इसी को देखते हुए यह ट्रेन शुरू की गई है. यह ट्रेन हफ्ते में 2 दिन चलेगी.
न्यू जलपाईगुड़ी से यह ट्रेन हर रविवार और बुधवार को 11:45 सुबह बजे रवाना होगी. उसी दिन यह ट्रेन रात 22:30 पर ढाका पहुंचेगी. जबकि ढाका से यह ट्रेन हर सोमवार और गुरुवार को 21:30 रात को रवाना होगी और अगले दिन सुबह 7:15 पर न्यू जलपाईगुड़ी पहुंचेगी. न्यू जलपाईगुड़ी से ढाका कैंट के बीच की दूरी 595 किलोमीटर है. इस सफर को तय करने में ट्रेन को 9 घंटे 45 मिनट लगेंगे, जिसमें केवल सवा घंटे की जर्नी भारत के इलाके में होगी. केवल 61 किलोमीटर भाग भारत में होगा
बढ़ेगा दोनों देशों के नागरिकों में संपर्क
इस ट्रेन की सबसे ख़ास बात यह है कि इससे बांग्लादेश और भारत के उत्तर-पूर्वी राज्यों के बीच संपर्क बढ़ जाएगा. भारत की आज़ादी और विभाजन से पहले पूर्वी बंगाल से बड़ी संख्या में सैलानी दार्जिलिंग और उत्तर पूर्वी राज्यों में सैर सपाटे के लिए आते थे. लेकिन विभाजन के बाद यह संपर्क कमज़ोर हो गया था. इसके बाद भी बांग्लादेशी सैलानी इलाके में पर्यटन के लिहाज से आते रहे हैं. इसी संपर्क को बढ़ाने के लिए यह ट्रेन शुरू की गई है.
पर्यटन को होगा लाभ
मिताली एक्सप्रेस के चलने से इलाके में पर्यटन को बहुत ज़्यादा फायदा होने वाला है. पिछले ही साल 27 मार्च को दोनों देशों के प्रधानमंत्रियों ने मिताली एक्सप्रेस का वीडियो कॉन्फ्रेंस से उद्घाटन किया था, लेकिन कोविड की वजह से ट्रेन की सेवा शुरू नहीं हो पाई थी. 27 मार्च को ही बांग्लादेश का मुक्ति दिवस (आज़ादी) मनाया जाता है.
इससे पहले चल रही हैं 2 और ट्रेन
इससे पहले दोनों देशों के बीच दो और ट्रेनें चल रही हैं. कोलकाता और ढाका के बीच मैयत्री एक्सप्रेस, जबकि कोलकाता और खुलना के बीच बंधन एक्सप्रेस दोनों देशों के हज़ारों लोगों को सफर का साधन मुहैया करा रहा है.