ड्रोन (Drone) के इस्तेमाल को बढ़ावा देने के लिए केन्द्र सरकार नई-नई योजनाएं ला रही है. बहुत सारी फील्ड में तो ड्रोन के इस्तेमाल की मंजूरी भी दे दी गई है. बजट 2022 पेश करने के दौरान केन्द्र सरकार (Central Government) ने ड्रोन से जुड़ा एक बड़ा ऐलान किया था. ड्रोन को भी मोबाइल (Mobile) और कंप्यूटर (Computer) की तरह से रोजमर्रा की जिंदगी में शामिल करने की बात कही थी. जिसके चलते बड़ी संख्या में ड्रोन पायलट की जरूरत भी होगी. इसी के चलते 10 राज्यों में ड्रोन पायलट की ट्रेनिंग के लिए 18 स्कूल (Drone Training School) खोले गए हैं. ज्यादातर जगहों पर प्राइवेट फ्लाइंग क्लब (Private Flying Club) को ही स्कूल खोले जाने की मंजूरी दी गई है. यूपी में दो और हरियाणा में चार स्कूल खुले हैं. ड्रोन से जुड़ी और ज्यादा जानकारी डीजीसीए (DGCA) की वेबसाइट पर डिजिटल स्काई नाम से बने प्लेटफॉर्म पर देखी जा सकती है.
10 राज्यों में यहां खोले गए ड्रोन ट्रेनिंग स्कूल
10 राज्यों में शामिल यूपी के अलीगढ़ में धनीपुर हवाई पट्टी पर दो ड्रोन पायलट ट्रेनिंग स्कूल खोले गए हैं. वहीं हरियाणा में तीन गुरुग्राम और एक बहादुरगढ़ में स्कूल खोला गया है. मध्य प्रदेश में ग्वालियर, गुजरात में अहमदाबाद, हिमाचल प्रदेश में शाहपुर, झारखंड में जमशेदपुर, कर्नाटक बेंगलूरु, महाराष्ट्र में 4 में से दो पुणे, एक मुम्बई और एक बारामती में खोला गया है. तेलंगाना में सिकंदराबाद और हैदराबाद में एक-एक खोले गए हैं. तमिलनाडू में चेन्नई में एक ट्रेनिंग स्कूल खोला गया है. देशभर में अभी सिर्फ 18 स्कूल ही खोले गए हैं.
इस फील्ड में ड्रोन के इस्तेमाल को दी गई है मंजूरी
केन्द्र सरकार के मुताबिक अभी मेडिकल, एग्रीकल्चर, पंचायतीराज, रक्षा मंत्रालय, गृहमंत्रालय, आवास और शहरी मामले, खनन, परिवहन, बिजली, पेट्रोलियम और गैस, पर्यावरण और सूचना-प्रसारण की फील्ड में ड्रोन का इस्तेमाल करने के लिए मंजूरी दी गई है. कोरोना वैक्सीन की सप्लाई के लिए तो मेघालय में ड्रोन का इस्तेमाल करने की मंजूरी दी गई थी.
वजन के हिसाब से ड्रोन के लिए ये होंगे मानक
ड्रोन को वजन के अनुसार विभिन्न श्रेणियों में रखा गया है. 250 ग्राम या इससे कम वजन वाले नैनो ड्रोन कहे जाएंगे. जबकि इससे अधिक वजन वाले माइक्रो या मिनी ड्रोन के लिए यूआइडी के अलावा अन्य नियमों का पालन करना जरूरी होगा.
नए नियमों के अनुसार 250 ग्राम से 2 किलो वजन तक के माइक्रो ड्रोन, 2 किलो से 25 किलो, 25 किलो-150 किलो और उससे ज्यादा वजन वाले मिनी एवं बड़े ड्रोन पर यूआइडी प्लेट के अलावा आरएफआइडी/सिम, जीपीएस, आरटीएच (रिटर्न टू होम) और एंटी कोलीजन लाइट लगाना जरूरी होगा. हालांकि 2 किलो से अधिक वजन वाले मानव रहित मॉडल एयरक्राफ्ट पर केवल आइडी प्लेट लगाना जरूरी होगा.